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Chedchad: शिक्षक की करतूत, कलंकित किया गुरु पद को, प्रदेश की बेटियां खतरे में, हर स्कुल की हो कठोरता से जाँच, खुल सकते है ओर भी कई राज…पढ़िए।

कुकड़ेश्वर – बेटी बचाओ – बेटी पढ़ाओ, लाड़ली लक्ष्मी, बेटी है तो कल है, सुकन्या आदि कई प्रयास मध्य प्रदेश व देश में सरकार के है, जो बेटियो को बेहतरीन जीवन जीने के अधिकार प्रदान करते है। माता पिता अपने घर की इज्जत, मान सम्मान व फूल सी बेटियो को शिक्षा मिल सके, वो भी शिक्षा ग्रहण कर एक उत्तम जीवन जी सके। इस हेतू गाँव, नगर सहित सेंकडो किलो मीटर दूर तक शिक्षा के मन्दिरो में यानि स्कुलो में भेजते है। सनातन काल से ही शिक्षा देंने वाले शिक्षको को भारत देश में गुरु व भगवान की उपाधि देकर सम्मान किया जाता है।
मध्य प्रदेश के शिक्षा के मंदिरो में, शिक्षा देने वाले चंद शिक्षक, गुरु की मर्यादा को तार तार करते हुए, गुरु व शिक्षक जगत को बदनाम करने पर उतारू है। वर्ष भर में कई दर्द विदारक घटनाये उभर कर सामने आ ही जाती है कि स्कुलो में बालिकाओ के साथ, शिक्षक द्वारा अप्रिय घटना घटित की है।
सवाल हर एक पालक का है? और एक धर्म संकट की स्थिति निर्मित है? की आखिर ! एक पालक अपने घर की मासूम किलकारी को, किस आधार पर ऐसे चंद लोगो के हाथो में सौंप दे, जो मान मर्यादा व मानवीयता भूलकर, दरिंदगी पर उतारू है।

हर एक माता पिता के जहन में सवाल है? कि क्या! सरकारे केवल बेटी के लिए सुविचार लिखने व बेटी पर भाषण देने तक ही सिमित है? कानून सिर्फ बेटी के साथ घटित हुयी अप्रिय घटना के बाद है एक्शन में आता है? घटना ही न घटे, ऐसा कोई कानून नही है! क्या?
देश व प्रदेश के स्कुलो में घटित हो रही घटनाओ को देखकर या सुनकर, हर एक शख्स के जहन में संसय की स्थितियां निर्मित हो रही है की, जिन बालिकाओ ने शिक्षको द्वारा की जा रही अप्रिय घटना को पालको के बिच में रख दिया है तो कार्यवाही या विरोध झलका है। पर ऐसे कई स्कुल होंगे जँहा पर ऐसी घटनाये कई समय से घट रही होगी और बालिकाओ द्वारा माता पिता के डर से, शिक्षा से वंचित रहने के डर से, समाज में इज्जत उछल जायेगी, कोई शादी नही करेगा, आदि कई कारणों की वजह से विरोध नही किया जा रहा होगा। बेटियो की इस डर भरी और ख़ौफ़ भरी स्थिति को सिर्फ और सिर्फ माता पिता ही समझ सकते है।
मन तड़प उठा, जब यह घटना सुनी तो, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के राज में स्कूली छात्राएं या बेटिया ही असुरक्षित है। शिक्षक ही भक्षक की भूमिका में नजर आ रहे है। जो अप्रिय घटनाये आमजन के सामने आ गयी उन पर कार्यवाही हो गयी। जिन स्कुलो की अप्रिय घटना दबी हुयी है वो निरन्तर बेटियो के साथ अभद्रता करने से नही चूक रहे होंगे।

नीमच जिले के मनासा विकासखण्ड के ग्राम हतुनिया के सरकारी स्कुल में पदस्त 62 वर्षीय शिक्षक कैलाशचन्द्र पिता भुवानीराम हाड़ा निवासी मनासा ने स्कूली छात्राओ के साथ अश्लील हरकते कि है। जिसको लेकर ग्राम हतुनिया के पालकगण व छात्राएं स्वयं पुलिस थाना कुकड़ेश्वर पहुंचे ओर टी.आई. संदीप तौमर को उक्त शिक्षक द्वारा की गयी हरकतों व अश्लीलता की प्रत्यक्ष रूप से आप बीती बताई। जिस पर पुलिस थाना कुकड़ेश्वर द्वारा लगभग 7 तरह की धाराएं जिसमे 354, 506, 9f, 10, 9m आदि के तहत प्रकरण दर्ज कर, शिक्षक कैलाश चन्द्र हाड़ा को मनासा कोर्ट में पेश किया गया है। ततपश्चात कोर्ट द्वारा कार्यवाही की गयी।
उक्त घटना को नीमच जिला कलेक्टर, जिला पुलिस अधीक्षक व शासन प्रशासन गम्भीरता से ले? और नीमच जिला सहित मनासा विकासखण्ड के स्कुलो की शख्ति के साथ जांच पड़ताल करे तो कई खुलासे होने की सम्भावनाये। क्योकि कई बेटिया ऐसी अत्याचारो से गुजर रही होगी पर सामाजिक लाज लज्जा, शिक्षा से वंचित रहने व माता व पिता व समाज के डर से बोल ही नही पा रही होगी? स्कुलो में अच्छी क्वालिटी के CCTV केमरे अनिवार्य रूप से लगवाये। और कैमरे ऐसी लोकेशन पर लगाये की स्कुल का कोई भी भाग कैमरे की नजर से वंचित न रहे। बेटिया असुरक्षित है।

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Author: MP7 News

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